चाणक्य नीति - सीधा-साधा स्वभाव आपके लिए अच्छा नहीं है,

सीधा-साधा स्वभाव आपके लिए अच्छा नहीं है, क्योंकि...जीवन में कई बार हमें हमारे स्वभाव के कारण या तो सुख प्राप्त होता है या दुख। आजकल जैसा वातावरण है उसके अनुसार जो सीधे-साधे लोग हैं उन्हें काफी परेशानियों का सामना करना पड़ता है। इस संबंध आचार्य चाणक्य कहते हैं कि-

अतिहि सरल नहिं होइये, देखहु जा बनमाहिं।
तरु सीधे छेदत तिनहिं, बांके तरु रहि जाहि।।

जिन लोगों का स्वभाव अधिक सीधा-साधा है, उन्हें ऐसे नहीं रहना चाहिए क्योंकि यह अच्छा नहीं है। वन में हम देख सकते हैं जो पेड़ सीधे होते हैं सबसे पहले काटने के लिए उन्हें ही चुना जाता है।

आचार्य चाणक्य कहते हैं कि जिन लोगों का स्वभाव जरूरत से ज्यादा सीधा, सरल और सहज होता हैं उन्हें अक्सर समाज में परेशानियों का ही सामना करना पड़ता है। चालक और चतुर लोग इनके सीधे स्वभाव का गलत फायदा उठाते हैं। ऐसे लोगों को दुर्बल ही समझा जाता है। अनावश्यक रूप से लोगों की प्रताडऩा झेलना पड़ती है। अत्यधिक सीधा स्वभाव भी मूर्खता की श्रेणी में ही आता है। अत: व्यक्ति को थोड़ा चतुर और चालक भी होना चाहिए। ताकि वह जीवन में कुछ उल्लेखनीय कार्य कर सके। इसका एक सटीक और प्रत्यक्ष उदाहरण है जंगल में लगे सीधे वृक्ष। सामान्यत: देखा जा सकता है कि जंगल में लगे सीधे वृक्ष ही सबसे काटने के लिए चुने जाते हैं। इसी प्रकार हमारे जीवन में भी जो लोग सीधे-साधे होते हैं उनसे चतुर लोग अनुचित लाभ अवश्य ही उठाते हैं।
चाणक्य नीति - सीधा-साधा स्वभाव आपके लिए अच्छा नहीं है,  चाणक्य नीति - सीधा-साधा स्वभाव आपके लिए अच्छा नहीं है, Reviewed by Naresh Ji on March 02, 2022 Rating: 5

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